इन युवा लड़कों को लगता है कि लड़कियां पूरा बदन ढंककर रखें तो सुरक्षित रहेंगी
जब यंग लड़कों के ऐसे विचार हैं, तो किसी से क्या उम्मीद करें.
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इटावा उत्तर प्रदेश का एक जिला है. जहां एसजीएमआई यानी श्री मदनलाल ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशन्स है. हमारी साथी वेबसाइट ‘द लल्लनटॉप’ के रिपोर्टर सौरभ त्रिपाठी वहां पहुंचे. वो स्टूडेंट्स से मिले और उनसे लड़कियों से होने वाली छेड़खानी के बारे में पूछा. तो एक स्टूडेंट ने इसमें लड़कियों की ही गलती बता दी. उनके पहनावे को लेकर वह बड़ी-बड़ी बातें करने लगा. भारी-भारी शब्द का इस्तेमाल करने लगा. जैस लड़कियों को पारंपरिक, पैतृक कपड़े पहने चाहिए. देश की संस्कृति अपनानी चाहिए. हमारी कुछ चीजें ऐसी हैं, जो पैतृक संपदा हैं. कुछ संस्कार भी होते हैं. और भी बहुत कुछ कहा.
उसने कहा कि अगर किसी लड़की के साथ गलत होता है, तो उसकी जिम्मेदार लड़कियां होती हैं, उनकी ही गलती होती है, इसलिए उनके साथ गलत होता है. ऐसा उस युवा का कहना था. लड़कियों को बंद गले का कपड़ा पहनना चाहिए और पूरी शरीर ढंक कर चलना चाहिए. ये है उस युवा की सोच. स्टूडेंट ज्याद उम्र का नहीं है. बल्कि 19-20 साल का है. जिसकी सोच ऐसी है, वह देश का भविष्य है. तो हम और आप एक बूढ़े-बुजुर्ग से क्या उम्मीद करेंगें. वहां खड़ी लड़कियों ने भी उस लड़के से सवाल किए. पूरा मामला जानने के लिए देखें, ये वीडियो-
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