वॉट्सऐप पर छोटे बच्चों की सेक्स विडियो डालते थे ये लड़के, दुनिया भर में लोग देख रहे थे

जाने इन्हें ऐसा कर क्या ख़ुशी मिलती थी.

सरवत फ़ातिमा सरवत फ़ातिमा
अगस्त 06, 2018
इन विडियो में बच्चों का यौन शोषण हो रहा था. फ़ोटो कर्टसी: ट्विटर

हममें से शायद ही कोई होगा जो वॉट्सऐप पर बने हज़ारों ग्रुप्स से परेशान नहीं होगा. दिन भर बे सिर-पैर के जोक्स और मेसेजेस. ठीक है, इससे किसी को नुकसान नहीं पहुंच रहा. पर जब इन ग्रुप्स का इस्तेमाल ‘चाइल्ड पोर्नोग्राफी’ यानि बच्चों के अश्लील विडियोज़ फैलाने के लिए किया जाने लगे तो ये डराने वाली बात है.

3 जुलाई को मुंबई पुलिस ने पांच लड़कों को गिरफ्तार किया. क्यों?

क्योंकि ये पांचों लड़के, बच्चों की सेक्स विडियोज़ एक वॉट्सऐप ग्रुप पर डालते थे. इस ग्रुप के मेम्बर्स सिर्फ़ हिंदुस्तान तक सीमित नहीं थे. देश के बाहर से भी कुछ लोग इस ग्रुप का हिस्सा बने हुए थे. कुल मिलकर इस ग्रुप में 217 मेम्बर्स थे. जिसमें से सात विदेशी थे. जिन पांच लड़कों को गिरफ़्तार किया गया है, उनमें से तीन कॉलेज में पढ़ते हैं. इन लड़कों की उम्र 18 से 25 साल है. ये सभी किसी गिरोह का हिस्सा नहीं बल्कि मिडिल-क्लास फैमिली से आते हैं.

जिस ग्रुप पर ये विडियो डालते थे, उसका नाम था ‘बीबी बैड बोय्ज़’. पुलिस ने इनके फ़ोन नंबर इस ग्रुप से निकाले और उन्हें ट्रैक किया. पता चला सब अपने-अपने घर पर हैं. बस फिर क्या था, पुलिस ने इन्हें धर दबोचा. पर इस ग्रुप का जो ऐडमिनिसट्रैटर है मतलब एक तरह का ‘क्लास मॉनिटर’, वो अभी भी फ़रार है. वो तमिलनाडू का रहने वाला है.

जिस ग्रुप पर ये विडियो डालते थे, उसका नाम था ‘बीबी बैड बोय्ज़’. फ़ोटो कर्टसी: ट्विटर जिस ग्रुप पर ये विडियो डालते थे, उसका नाम था ‘बीबी बैड बोय्ज़’. फ़ोटो कर्टसी: ट्विटर

इस ग्रुप के 42 मेम्बर्स महाराष्ट्र से हैं. बाकी उत्तर प्रदेश, हरियाणा, दिल्ली, मध्य प्रदेश, और तमिलनाडू से हैं. सात एनआरआई यानि भारतीय मूल के वो लोग जो विदेशों में बसे हैं, इस ग्रुप का हिस्सा हैं. ये मस्कत, यूके, और अमेरिका में रह रहे हैं. पुलिस का ये भी मानना है कि हो सकता है इस ग्रुप में महिलाएं और लड़कियां भी शामिल हों.

इस पूरे मामले का पर्दाफाश तब हुआ जब भायंदर, महाराष्ट्र का रहने वाला एक लड़का पुलिस के पास पहुंच गया. 26 साल का वो लड़का इसी ग्रुप का एक मेम्बर है. वो साइबर सिक्यूरिटी के पास गया और उन्हें पूरा मामला समझाया.

एक अंग्रेजी अखबार में छपी रिपोर्ट के मुताबिक उसने पुलिस को बताया कि ये ग्रुप ‘एडल्ट पोर्नोग्राफी’ के लिए बना था. पर धीरे-धीरे इसमें बच्चों की विडियोज़ भी डाली जाने लगीं. जब उसने बच्चों की सेक्स विडियो देखी तो उसने ग्रुप छोड़ने का फ़ैसला किया. जब बात पुलिस तक पहुंची तो पता चला कि इस तरह की विडियोज़ इस ग्रुप के 20 और लोगों ने डाली थीं. इनमें न सिर्फ़ बच्चों को सेक्स करते हुए दिखाया जा रहा था, बल्कि उनका यौन शोषण भी हो रहा था.

इस ग्रुप का तो पर्दाफ़ाश हो गया. पर न जाने और कितने ग्रुप्स अभी भी वॉट्सऐप पर सक्रिय हैं. फ़ोटो कर्टसी: ट्विटर इस ग्रुप का तो पर्दाफ़ाश हो गया. पर न जाने और कितने ग्रुप्स अभी भी वॉट्सऐप पर सक्रिय हैं. फ़ोटो कर्टसी: ट्विटर

पुलिस ने जब तफ़सील से तहकीकात की तो पता चला सारे आरोपी नकली नाम इस्तेमाल कर रहे थे. और ग्रुप में हर दिन पांच ऐसे विडियो तो डालते ही थे.

सारे पकड़े गए. आरोपियों पर सेक्शन 67 (बी) आईटी एक्ट के तहत धाराएं लगाई गई हैं. हो सकता है इनपर पोक्सो एक्ट के तहत भी मामला दर्ज हो.

इस ग्रुप का तो पर्दाफ़ाश हो गया. पर न जाने और कितने ग्रुप्स अभी भी वॉट्सऐप पर सक्रिय हैं. इसलिए अगर कभी आपको कोई ऐसा मेसेज या विडियो आए, तो उसे फौरन पुलिस के पास ले जाएं.

 

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